By Manoj Tiwari
वर्तमान समय में स्मार्ट सिटी के चलन के बाद से शहरों को आंकने का पैमाना बदल गया है। पहले जहाँ सबसे विकसित और अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस शहर को महानगर कहते थे। वहीं आज के समय में महानगर को आंकने का एक जरुरी पैमाना मेट्रो ट्रेन बन गयी है। तकनीकी की इस देन से शहर का हर कोना बस चंद मिनटों में आपस में जुड़ जाता है। इससे बिना ट्रैफिक जाम के मीलों की दूरी हमारे कदमों में झुक जाती है और देश-दुनिया में बढ़ रहे प्रदुषण एवं यातायात की समस्या को कम करने में मेट्रो का योगदान किसी से छिपा नहीं है। कुछ ऐसा ही फायदा होगा नवाबों के शहर लखनऊ को जब लखनऊ मेट्रो बनकर तैयार हो जाएगी। लखनऊ ऐसा शहर जो अपनी अदब और लाजवाब खाने के लिए जाना जाता है। लेकिन अब वह दिन दूर नहीं है। जब इस शहर में मेट्रो फर्राटा भर देगी। इसके निर्माण का काम काफी तेजी से चल रहा है। ऐसी उम्मीद है कि नवम्बर के आखिरी सप्ताह या फिर दिसम्बर में लखनऊ में मेट्रो सेवा शुरू हो जाएगी। जानिए क्या ख़ास होगा लखनऊ मेट्रो में-
जाम से होता है बुरा हाल, मिलेगी निजात
लखनऊ नवाबों का शहर कहा जाता है क्योंकि यहाँ नवाबों से जुड़ी बहुत सी चीजें हैं, जो इस शहर का लम्बे समय तक आकर्षण रहीं हैं। लेकिन प्रदेश की राजधानी और यूपी का सबसे खूबसूरत शहर होने के नाते यहां की आबादी भी अन्य महानगरों की तरह बढ़ी है। ऐसे में लखनऊ की सड़कों पर गाड़ियों से जाम लगना लाज़मी है। वहीँ यहाँ आये हर वर्ग के लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। साथ ही ये जाम गर्मियों में काफी असहनीय हो जाता है इस कारण शहर के प्रदूषण स्तर भी काफी बढ़ जाता है।
अत्याधुनिक सुविधाओं से होगी लैस-
लखनऊ मेट्रो शहर को ट्रैफिक जाम और प्रदूषण से तो निजात दिलाएगी ही, साथ ही लखनऊ मेट्रो अबतक की सबसे आधुनिक मेट्रो सेवा होगी। लखनऊ मेट्रो के कोच में यात्रियों की सुविधा के लिए आधुनिक एनाउंसमेंट एंड डिस्पले सिस्टम, इमरजेंसी कम्युनिकेशन सिस्टम, ट्रेन के कंट्रोलर से बातचीत के लिए टॉकबैक सुविधा, सीसीटीवी से निगरानी, दिव्यांगों के व्हीलचेयर के लिए विशेष जगह, एडजस्टेबल फ्लोर जैसे फीचर्स हैं।
गो स्मार्ट से बदलेगा लोगो का जीवन-
लखनऊ मेट्रो में ऑटोमेटिक फेयर कलेक्शन के लिए उपयोग होने वाले कार्ड का नाम ‘गो स्मार्ट’ होगा। इस स्मार्ट कार्ड को यात्री के बैंक खाते से भी जोड़ने की सुविधा होगी। जो खुद-ब-खुद न्यूनतम किराये के बाद रिचार्ज हो जाया करेगी। इसी कार्ड से शॉपिंग के अलावा 28 अलग-अलग सरकारी और गैर सरकारी संस्थाओं की सुविधाओं को जोड़ा जा सकेगा। इस ‘गो स्मार्ट कार्ड’ का इस्तेमाल सिटी और रोडबेज बसों में भी किया जा सकता है। यही कार्ड भविष्य में कानपुर और वाराणसी की मेट्रो में भी मान्य होगा।
आधुनिक स्काईवाक दिलाएगा सुविधाजनक सफ़र-
लखनऊ मेट्रो में सबसे आधुनिक स्काईवाक भी बनाया जाएगा। स्काईवाक की सुविधा लखनऊ जंक्शन और मेट्रो के दुर्गापुरी स्टेशन के बीच यात्रियों को मिलेगी। इससे मेट्रो से उतरने वाले यात्री सीधे स्टेशन पहुंच जाएंगे। इस स्काईवॉक पर यात्रियों के लिए टिकट घर और फूड प्लाजा होगा ताकि वे यात्रा के दौरान खाने-पीने का सामान भी खरीद सकें। यह स्काईवॉक फुटओवर ब्रिज, एस्केलेटर व लिफ्टों से जुड़ा होगा, जिससे यात्रियों को प्लेटफॉर्म से चढ़ने-उतरने में भी दिक्कतें नहीं होंगी।
सिर्फ आसान ही नहीं बल्कि सस्ता भी होगा सफ़र
सरकार का दावा है कि मेट्रो की यात्रा काफी सस्ती होगी। रिजर्ब ऑटो से जहां ट्रांसपोर्ट नगर से मुंशीपुलिया के बीच 200 रुपये किराया लगता हैं। वहीँ मेट्रो में उतनी दूरी का किराया मात्र 38 रुपये होगा। इसके साथ ही मेट्रो में सबसे महंगा टिकट 38 रुपये का और सबसे सस्ता टिकट 5 रुपये होगा।
दिसम्बर से ले सकेंगे मेट्रो का मज़ा
लखनऊ मेट्रो के पहले चरण में चौधरी चरण सिंह हवाई अड्डे से मुंशी पुलिया तक 23 किमी की यात्रा दिसम्बर में शुरू हो जाएगी। जिसमें कुल 23 स्टेशन होंगे। प्राप्त जानकारी के अनुसार इसके शुरुआती सफ़र में कुल 23 स्टेशन आएंगे जिसमें ट्रांसपोर्ट नगर, चारबाग, हजरतगंज, इंदिरानगर और मुंशीपुलिया मुख्य स्टेशन होंगे।
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